अपने-अपने जनपदों में मनरेगा के माध्यम से रोजगार उपलब्ध कराने की निरन्तर समीक्षा करें जिलाधिकारी : मुख्यमंत्री

> मुख्यमंत्री ने मनरेगा के अन्तर्गत श्रमिकों को विभागीय कन्वर्जेन्स द्वारा रोजगार उपलब्ध कराने के सम्बन्ध में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की।


> मनरेगा के माध्यम से उपलब्ध सभी प्रस्तावों को स्वीकृत करते हुए जरूरतमन्दों व श्रमिकों को रोजगार मुहैया कराएं : मुख्यमंत्री


> केन्द्र तथा राज्य सरकार की योजनाओं के माध्यम से भी अधिकाधिक रोजगार सृजन किया जाए : मुख्यमंत्री



अपने लखनऊ स्थित सरकारी आवास पर बुधवार 10 जून को मनरेगा के अंतर्गत मजदूरों को पर्याप्त संख्या में रोजगार के अवसर उपलब्ध कराए जाने के संबंध में कन्वर्जेन्स विभागों की बैठक करते मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी।  (फोटो : मुख्यमंत्री सूचना परिसर)

लखनऊ (सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आगामी 15 जून, 2020 से सभी सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों और जिलाधिकारियों को महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारण्टी योजना (मनरेगा) के माध्यम से प्रतिदिन 01 करोड़ मानव दिवस सृजित किए जाने के लक्ष्य को पूरा करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि जिलाधिकारी अपने-अपने जनपदों में मनरेगा के माध्यम से रोजगार उपलब्ध कराने की निरन्तर समीक्षा करें। प्रेषित प्रस्तावों की औपचारिकताओं को पूर्ण करते हुए 03 दिन के भीतर इन कार्यों की सूची शासन को उपलब्ध कराएं। उन्होंने सभी मण्डलायुक्तों को अपने सम्बन्धित जनपदों का भ्रमण करने के निर्देश देते हुए कहा कि वे यह सुनिश्चित करें कि लॉकडाउन से पहले चल रही विकास योजनाएं पूरी गति से प्रारम्भ हो जाएं। योजनाओं के सम्बन्ध में मॉनीटरिंग करते हुए इनकी प्रगति से शासन को अवगत कराया जाए। इस सम्बन्ध में कोई भी शिथिलता न बरती जाए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बुधवार 10 जून को अपने सरकारी आवास पर मनरेगा के अन्तर्गत श्रमिकों को विभागीय कन्वर्जेन्स द्वारा रोजगार उपलब्ध कराने के सम्बन्ध में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलाधिकारियों व मण्डलायुक्तों को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि विभागीय कन्वर्जेन्स के माध्यम से अधिक श्रमिकों का नियोजन हो सकेगा। मनरेगा के लिए अधिक कार्य स्थलों की उपलब्धता सुनिश्चित होगी। विभागों के समन्वय से परिसम्पत्तियों के सृजन में गुणवत्ता आएगी। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि मनरेगा के साथ-साथ केन्द्र तथा राज्य सरकार की योजनाओं के माध्यम से भी अधिकाधिक रोजगार सृजन किया जाए। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को अपने अपने जनपदों में रोजगार उपलब्ध कराने के सम्बन्ध में कार्य योजना प्रस्तुत करने के निर्देश देते हुए कहा कि मनरेगा के माध्यम से उपलब्ध सभी प्रस्तावों को स्वीकृत करते हुए जरूरतमन्दों व श्रमिकों को रोजगार मुहैया कराएं। उन्होंने कहा कि कोरोना के संक्रमण के दृष्टिगत सावधानी व सतर्कता बरतते हुए तथा सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए कार्य किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि कोविड-19 जैसी वैश्विक महामारी के कारण बड़ी संख्या में श्रमिक और कामगार प्रभावित हुए हैं। लगभग 35 लाख कामगार और श्रमिक विभिन्न राज्यों से प्रदेश में वापस आए हैं। प्रदेश में पहले से भी बड़ी संख्या में कामगार और श्रमिक उपलब्ध हैं। ऐसे में, प्रदेश की सुदृढ़ अर्थव्यवस्था के लिए व्यापक स्तर पर रोजगार सृजन किया जाना है। बड़े उद्योगों, एमएसएमई के अलावा, मनरेगा के माध्यम से भी रोजगार सृजन किया जा सकता है। रोजगार की सम्भावनाओं के सम्बन्ध में कार्य योजना बनाकर समयबद्ध ढंग से आगामी 15 जून, 2020 से प्रतिदिन 01 करोड़ रोजगार सृजन किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्तमान में मनरेगा के माध्यम से 42 लाख मानव दिवस सृजित किए गए हैं, जिससे लोगों को रोजगार उपलब्ध हुआ है। विगत दिवसों में मनरेगा के माध्यम से अच्छा कार्य किया गया है, किन्तु इसे और अधिक गति प्रदान की जाएउन्होंने कहा कि विभागीय कन्वर्जेन्स के माध्यम से मनरेगा द्वारा अकेले 01 करोड़ मानव दिवस सृजित किए जा सकते हैं, जिन्हें पूरा किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने लोक निर्माण, सिंचाई, कृषि, ग्राम्य विकास, पंचायतीराज, वन, लघु सिंचाई, उद्यान, मत्स्य, पशुधन, रेशम, राजस्व, महिला एवं बाल विकास, खेल एवं युवा कल्याण, बेसिक, माध्यमिक व प्राविधिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों से मनरेगा के माध्यम से रोजगार सृजन के सम्बन्ध में कार्य योजना की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने कहा कि इन सभी विभागों में व्यापक स्तर पर मानव दिवस सृजित किए जाएंउन्होंने कहा कि कमजोर वर्गों, अन्त्योदय कार्ड धारकों, निराश्रित महिलाओं, दिव्यांगजन को भी मनरेगा के माध्यम से रोजगार उपलब्ध कराए जाएं। मुख्यमंत्री जी ने इस अवसर पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रयागराज, बलरामपुर, मिर्जापुर, कुशीनगर, शाहजहांपुर, बदायूं, सीतापुर, हरदोई के जिलाधिकारियों से संवाद किया। उन्होंने उनकी कार्य योजना के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त की और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। पूर्व में, मुख्यमंत्री जी के समक्ष प्रमुख सचिव ग्राम्य विकास व पंचायतीराज मनोज कुमार सिंह ने मनरेगा के माध्यम से विभागीय कन्वर्जेन्स द्वारा रोजगार सृजन के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण दिया। इस अवसर पर कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही, वन मंत्री दारा सिंह चौहान, ग्राम्य विकास मंत्री राजेन्द्र प्रताप सिंह (मोती सिंह), खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह, पंचायतीराज मंत्री भूपेन्द्र सिंह चौधरी, पशुधन मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी, जलशक्ति मंत्री डॉ महेन्द्र सिंह, महिला कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्रीमती स्वाती सिंह, बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सतीश द्विवेदी, खेल एवं युवा कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) उपेन्द्र तिवारी, उद्यान राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्रीराम चौहान, मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी, अपर मुख्य सचिव राजस्व व बेसिक शिक्षा श्रीमती रेणुका कुमार, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री संजय प्रसाद सहित सम्बन्धित विभागों के अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।


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