पूर्वजों की जमीन पर विकास होना किसानों को प्रसन्नता की अनुभूति देगा: योगी आदित्यनाथ

> गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे का कार्य समयबद्ध ढंग से पूर्ण किया जाएगा: मुख्यमंत्री


> पिपराइच चीनी मिल में अब तक 15 हजार टन गन्ने की पेराई हो चुकी है: मुख्यमंत्री 


> गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे हेतु 80 प्रतिशत भूमि अधिग्रहीत की जा चुकी है: मुख्य कार्यपालक अधिकारी, यूपीडा


> मुख्यमंत्री ने पुस्तिका 'मेक इन गोरखपुर का विमोचन किया।



लखनऊ (का ० उ ० सम्पादन)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनपद गोरखपुर में 5876 करोड रुपए की लागत से निर्मित होने वाले 91 कि मी लम्बाई के गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे के क्रियान्वयन में सहयोग करने वाले 04 जनपदों - गोरखपुर, संतकबीरगनर, आजमगढ़ तथा अम्बेडकरनगर के 500 किसानों को सम्मानित किया। मुख्यमंत्री योगी ने प्रत्येक जनपद के 10-10 किसानों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में यूपीडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी अवनीश कुमार अवस्थी तथा गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे परियोजना के चयनित निर्माणकर्ताओं मेसर्स एप्को इन्फ्राटेक एवं मेसर्स दिलीप बिल्डकॉन के मध्य अनुबन्ध पत्र का आदान-प्रदान भी सम्पन्न हुआ। मुख्यमंत्री योगी ने गीडा परिसर में आयोजित गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे परियोजना के क्रियान्वयन में सहयोग करने वाले किसानों के सम्मान समारोह को सम्बोधित करते हुए विकास के इस बड़े कार्य के लिए किसानों के सकारात्मक सहयोग पर अपनी शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि आपसी संवाद एवं समन्वय से ही विकास को गति मिलती है। विकास का कोई विकल्प नहीं होता, विकास ही हमें खुशियां प्रदान करता है और अर्थव्यवस्था को तीव्रता के साथ आगे बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि विकास के लिए शासन-प्रशासन, किसान, उद्यमी तथा समाज के प्रत्येक वर्ग को बेहतर संवाद और समन्वय बनाकर कार्य करना होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे का निर्माण प्रदेश के औद्योगिक विकास को बढ़ावा देगा तथा गोरखपुर के सर्वांगीण विकास का मार्ग प्रशस्त करेगा। गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे पर औद्योगिक गलियारे का भी निर्माण होगा, जो रोजगार के अवसर प्रदान करेगा। उन्होंने कहा कि इस महत्वाकांक्षी परियोजना में सहयोग करने वाले किसानों के मुआवजे की धनराशि आरटीजीएस के माध्यम से सीधे उनके खाते में भेजी जाती है। किसानों को इस बात की खुशी होगी कि उनके पूर्वजों की जमीन पर लोक कल्याण का एक अच्छा कार्य हो रहा है। उन्होंने कहा कि किसान अन्नदाता है और जब भी विकास हेतु जमीन की आवश्यकता होगी, तो किसान सहयोग करेंगे। योगी जी ने कहा कि जेवर में एशिया का सबसे बड़ा एयरपोर्ट बनेगा इस पर कार्य शीघ्र ही कार्य प्रारम्भ होने जा रहा है। उन्होंने कहा कि औद्योगिक गलियारे हेतु 1250 एकड़ भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही प्रारम्भ की जाए और किसानों के मुआवजे का तत्काल भुगतान किया जाए। उन्होंने कहा कि गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे पहले 4-लेन और बाद में 6-लेन का होगा। यह कार्य समयबद्ध ढंग से पूर्ण किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि एयर कनेक्टिविटी में गोरखपुर से इस समय कुल 08 फ्लाइट फुल होकर अन्य महानगरों में जा रही है। गोरखपुर में विकास की अपार संभावनाएं हैं और इसे व्यवस्थित तरीके से विकसित करने की आवश्यकता है। गीडा में स्किल डेवलपमेण्ट आवश्यक है, ताकि नौजवानों का पलायन रुके और उन्हें रोजगार मिले। उन्होंने कहा कि इस वर्ष के अन्त तक एम्स पूर्ण रूप से तैयार हो जाएगा। इसके निर्मित हो जाने पर पूर्वी उत्तर प्रदेश के लोगों को उपचार हेतु अन्यत्र कहीं नहीं जाना होगा। चिड़ियाघर का भी लोकार्पण आगामी मई-जून तक हो जाएगा। पिपराइच चीनी मिल प्रारम्भ हो गयी है और अभी तक 15 हजार टन गन्ने की पेराई हो चुकी है। फर्टिलाइजर कारखाना भी अगले वर्ष प्रारम्भ हो जाएगा। योगी जी ने इस अवसर पर गीडा की पुस्तिका 'मेक इन गोरखपुर' का विमोचन भी किया। इस अवसर पर यूपीडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी एवं अपर मुख्य सचिव गृह व सूचना अवनीश कुमार अवस्थी ने मुख्यमंत्री योगी सहित उपस्थित सभी का स्वागत करते हुए बताया कि गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे हेतु लगभग 80-82 प्रतिशत भूमि अधिग्रहीत की जा चुकी है और किसानों को उनके मुआवजे की धनराशि को आरटीजीएस के माध्यम से उनके खाते में भेजा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रोजेक्ट के पूरा होने से गोरखपुर सहित संतकबीरनगर, आजमगढ़, अम्बेडकरनगर जनपदों के सामाजिक व आर्थिक विकास के साथ कृषि, वाणिज्य, पर्यटन व उद्योगों की आय में भी वृद्धि होगी। लिंक एक्सप्रेस-वे के निकट कई उद्योग स्थापित होंगे। इस मौके पर अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त आलोक टण्डन ने बताया कि यूपीडा की स्थापना वर्ष 2007 में हुई थी और आज यह अनेक परियोजनाओं पर कार्य कर रही है। गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे के निर्माण से क्षेत्र का विकास होगा। उन्होंने इस परियोजना में योगदान देने वाले किसानों को धन्यवाद देते हुए कहा कि उन्होंने परियोजना की महत्ता को समझा है। इस अवसर पर सांसद रविकिशन, विधायक शीतल पाण्डेय सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण तथा शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।



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